Kalam ki kranti - mann ki shanti Devika Upadhaya 189

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ISBN: 9789391864279

Language: Hindi

Format: PAPERBACK

Origin: India

Devika Upadhaya
Devika Upadhaya

इनके प्रतिभा को हम इस प्रकार कह सकते हैं ,,

(अपने जज्बात को कलम देती हैं ,

कभी रोती है ,तो कभी हस्ती हैं ,

देविका उपाध्या आपने जज्बात को शब्दों में पिरोने की कोशिश करती है,

किसी के देखे सपने को पूरा करने की कोशिश करती हैं ,जख्म खाकर भी खुश होने के दावा करती हैं|

बिन बोले किसी से कुछ,

कुछ कर गुजरने का दवा करती हैं|)

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